यूपीएससी और राज्य पीसीएस परीक्षा के लिए करेंट अफेयर्स ब्रेन बूस्टर (विषय: विश्व मानव तस्करी निषेध दिवस (World Human Trafficking Prohibition Day)

यूपीएससी और राज्य पीसीएस परीक्षा के लिए ब्रेन बूस्टर (Brain Booster for UPSC & State PCS Examination)


यूपीएससी और राज्य पीसीएस परीक्षा के लिए करेंट अफेयर्स ब्रेन बूस्टर (Current Affairs Brain Booster for UPSC & State PCS Examination)


विषय (Topic): विश्व मानव तस्करी निषेध दिवस (World Human Trafficking Prohibition Day)

विश्व मानव तस्करी निषेध दिवस (World Human Trafficking Prohibition Day)

चर्चा का कारण

  • हाल ही में मानव तस्करी के विरुद्ध विश्व दिवस पर राष्ट्रमंडल मानवाधिकार पहल और वॉक फ्री फाउंडेशन द्वारा फ्आधुनिक दासता उन्मूलनय् शीर्षक से एक रिपोर्ट जारी की गई थी।
  • विश्व मानव तस्करी निषधे दिवस 2020 की थीम (Committed To The Cause - Working On The Frontline To End Human Trafficking ) है।
  • इस वर्ष की थीम मानव तस्करी के लिए प्रारंभिक उत्तरदाताओं (थ्पतेज त्मेचवदकमते) पर केंद्रित है।

प्रारंभिक उत्तरदाता

  • प्रारंभिक उत्तरदाता वे लोग होते हैं, जो मानव तस्करी के शिकार व्यक्तियों की पहचान करने, उनकी सहायता करने, परामर्श देने तथा उनके लिए न्याय दिलाने जैसे विभिन्न क्षेत्रें में कार्य करते हैं, इसके अतिरिक्त ‘प्रारंभिक उत्तरदाता’ तस्करों को सजा दिलवाने की चुनौतियों से भी निपटते हैं।
  • हालाँकि COVID-19 महामारी के दौरान, प्रारंभिक उत्तरदाताओं की अनिवार्य भूमिका और भी महत्वपूर्ण हो गई है, विशेष रूप से महामारी के दौरान लगाए गए प्रतिबंधों ने उनके काम को और भी कठिन बना दिया है।

रिपोर्ट के प्रमुख बिंदु

  • रिपोर्ट के अनुसार मानव तस्करी, मुख्य रूप से यौन शोषण, बालात श्रम, जबरन भीख मंगवाने, बलात विवाह, बच्चों को बेचने तथा बाल-सैनिकों के रूप में भर्ती करने, और मानव अंगों को निकालने के लिए की जाती है।
  • रिपोर्ट के अनुसार मानव तस्करी के शिकार कुल व्यक्तियों में 49% महिलायें तथा 23% लड़कियाँ होती हैं।
  • यौन शोषण, मानव तस्करी का सबसे आम कारण है, तथा लगभग 59% मानव तस्करी यौन शोषण के लिए की जाती हैं,
  • मानव तस्करी का दूसरा सबसे बड़ा कारण बलात श्रम है, बालात श्रम 34% लोगों से कराया जाता है।
  • ज्यादातार मानव तस्करी देश की सीमाओं के भीतर होती है, इसके अतिरिक्त मानव तस्करी के शिकार कुछ व्यक्तियों को धनी देशों में बेचा जाता है।

संयुक्त राष्ट्र का ब्लू हार्ट अभियान

  • संयुक्त राष्ट्र द्वारा, मानव तस्करी और समाज पर इसके प्रभाव के बारे में वैश्विक जागरूकता फैलाने के लिए ब्लू हार्ट अभियान का आरंभ किया गया है।
  • इसका उद्देश्य, इस जघन्य अपराध को रोकने तथा इसके विरुद्ध कार्यवाही करने के लिए सरकारों, कॉर्पोरेट क्षेत्र और आम नागरिकों को प्रोत्साहित करना है।
  • इसके तहत, मानव तस्करी के शिकार व्यक्तियों के साथ एकता दिखाने तथा अभियान का प्रसार करने हेतु कार्यकर्ता ब्लू हार्ट छपे हुए कपड़े पहनते हैं।

मानव तस्करी के विरुद्ध विश्व दिवस

  • संयुक्त राष्ट्र के द्वारा 30 जुलाई को मानव तस्करी के विरूद्ध विश्व दिवस निश्चित किया गया है। इसे वर्ष 2013 में प्रस्ताव A/RES/68/192 के द्वारा स्वीकृत किया गया था। इस प्रस्ताव में यह कहा गया था कि मानव तस्करी से पीडि़त व्यक्तियों के अधिकारों की रक्षा व उनकी स्थिति के बारे में जागरूकता फैलाने के इस दिवस को अपनाया जाना आवश्यक है।

भारत में मानव तस्करी निषेध हेतु प्रवधान

  • भारतीय संविधान में अनुच्छेद 23 (1) के तहत मानव तस्करी को निषिद्ध किया गया है।
  • अनैतिक व्यापार (निवारण) अधिनियम, 1956 The Immoral Traffic Prevention Act, 1956 (ITPA) व्यवसायिक यौन शोषण के लिए तस्करी की रोकथाम के लिए प्रमुख कानून है।
  • आपराधिक कानून (संशोधन) अधिनियम 2013 के द्वारा भारतीय दंड संहिता की धारा 370 और 370A के तहत मानव तस्करी के खतरे से निपटने के लिए व्यापक प्रावधान किये गए है।
  • यौन अपराधों से बालकों का संरक्षण (POSCO) अधिनियम, 2012, के अंतर्गत बच्चों को यौन शोषण से बचाने के लिए विशेष कानून बनाया गया है।
  • भारत सरकार ने मानव तस्करी की रोकथाम के लिए-मानव तस्करी (निवारण, संरक्षण और पुनर्वास) बिल, 2018 का भी प्रावधान किया है।